उपराज्यपाल ने कड़कड़डूमा टीओडी प्रोजेक्ट के निर्माण स्थल का किया निरीक्षण…डीडीए और एनबीसीसी के अधिकारियों को दिया बड़ा निर्देश..
उपराज्यपाल वी.के.सक्सेना ने डीडीए और एनबीसीसी के अधिकारियों को निर्देश जारी करते हुए कहा कि पूर्वी दिल्ली के कड़कड़डूमा में दिल्ली की पहली ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट (टीओडी) परियोजना का कार्य निर्धारित समय से पहले पूरा करें। उन्होंने अधिकारियों से यह भी कहा कि संरचनात्मक बिल्ड़िग सुरक्षा पर कोई समझौता न हो, एवं आसपास के क्षेत्रों के साथ परियोजना का निर्बाध एकीकरण करने के लिए हर तरह के कदम उठाए जाएं। सक्सेना ने कार्यों की स्थिति और प्रगति का जायजा लेने के लिए निर्माण स्थल का दौरा किया।
यह महत्वकांक्षी परियोजना जो कि शहर के स्काइ लाईन को बदलने के साथ-साथ पूर्वी दिल्ली में अभूतपूर्व बदलाव लाएगी, का कार्य महामारी संबंधित लाकडाउन, प्रदूषण संबंधित निर्माण प्रतिबंधों, और नियामक मंजुरियों के कारण देरी से शुरू हुआ। 25.47 हेक्टेयर में फैले इस परियोजना में जहां न्यून्तम 30 प्रतिशत हरित क्षेत्र होगा, का कार्य अंततः सितम्बर 2021 में शुरू हुआ और इसके सितम्बर 2026 तक पूरा होने की उम्मीद है। परियोजना के आवासीय कम्पोनेन्ट में हाई राइज आवासीय अर्पाटमेंट और ईडब्ल्यूएस हाउसिंग शामिल हैं, जो कि सभी नागरिक सुविधाओं से परिपूर्ण होंगे और इनका कार्य क्रमशः 2024 तथा 2023 में पूरा कर लिया जाएगा।
इडब्लयूएस हाउसिंग टावर्स और 2-3 बैडरूम वाले अपार्टमेंट टावरों के लिए उत्खन्न कार्य में हुई प्रगति की सराहना करते हुए उपराज्यपाल ने जोर देते हुए कहा कि इमारतों की संरचनात्मक सुरक्षा के लिए आवश्यक सभी उपाय जैसे पर्याप्त रूप से मजबूत रिटेनिंग वाल, पायलिंग, पिलिंथ और रैफ्ट नींव के निर्माण में कोई समझौता नहीं किया जाना चाहिए। श्री सक्सेना ने इस अवसर पर उपस्थित संबंधित अधिकारियों को जलापूर्ति, यातायात प्रबंधन, बिजली की उपलब्धता और परिवेश के साथ निर्बाध एकीकरण के संबंध में एक व्यापक संभावित योजना बनाकर इसको निर्माण के साथ-साथ लागू करने के आदेश भी दिए।
उन्होंने अधिकारियों को सांमजस्य के साथ काम करने की सलाह दी और उन्हें यह आश्वासन दिया कि जहां भी अन्तर अथवा बाह्य विभागीय/एजेंसी समन्वय के लिए उनकी आवश्यकता होगी वह वहां समुचित सहायता/हस्तक्षेप करेंगे। उपस्थित लोगों में औरों के अलावा डीडीए और एनबीसीसी के शीर्ष अधिकारी शामिल थे।